Tuesday, August 16, 2011


अंगूठे के हर पर्व में है ज्योतिष ज्ञान (Phalanges of your thumb reveal your destiny)

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imagePhalanges of your thumb reveal your destiny
अक्सर आपने किसी का उत्साह बढ़ाने के लिए अपनी हथेली की चारों उंगलियों को मोड़ कर अंगूठा ऊपर की ओर दिखाया होगा या किसी और को ऐसा करते देखा होगा। वास्तव में इसके पीछे एक बड़ा तथ्य यह है कि अंगूठा हमारी पूरी हथेली का प्रतिनिधित्व करता है और यह इच्छा शक्ति एवं मन को बल प्रदान प्रदान करता है। हस्तरेखा शास्त्र यानी पामिस्ट्री में तो अंगूठे के हर पोर का विशेष महत्व है।
हस्तरेखीय ज्योतिष अंगूठे को ज्ञान का पिटारा कहता है जिसके हरेक पोर में व्यक्ति के विषय में काफी रहस्य छुपा होता है। इस पिटारे की एक मात्र चाभी है हस्त रेखा विज्ञान का सूक्ष्म ज्ञान अर्थात जिसने हस्तरेखा विज्ञान का सूक्ष्मता से अध्ययन किया है वह इस पर लगा ताला खोल सकता है। आप भी अगर हस्तरेखा विज्ञान को गहराई से समझने के इच्छुक हैं तो आपको भी अंगूठे पर दृष्टि जमानी होगी अन्यथा इस शास्त्र में आप कच्चे रह जाएंगे अर्थात "अंगूठा टेक" ही रह जाएंगे।

अंगूठे के विषय में जानकारी हासिल करने के लिए सबसे पहले तो आप अपना अंगूठा गौर से देखिये, आप देखेंगे कि अंगूठा हड्डियों के दो टुकड़ों से मिलकर बना है और अन्य उंगलियो की तरह इसके भी तीन पर्व यानी पोर हैं। इसके तीनों ही पर्व व्यक्ति के विषय में अलग अलग कहानी कहती है।

अंगूठे का पहला पर्व (First Part of the Thumb): 

सामुद्रिक ज्योतिष के अनुसार जिस व्यक्ति के अंगूठे का पहला पर्व लम्बा होता है वह व्यक्ति आत्मविश्वास से भरा होता है और अपना जीवन पथ स्वयं बनता है। ये आत्मनिर्भरता में यकीन करते हैं और सजग रहते हैं। हथेली का पहला पर्व लम्बा हो यह तो अच्छा है लेकिन अगर यह बहुत अधिक लम्बा है तो यह समझ लीजिए कि व्यक्ति असामाजिक गतिविधियों को अंजाम देने वाला है, यह खतरनाक काम कर सकता है। दूसरी ओर जिस व्यक्ति के अंगूठे का पहला पर्व छोटा होता है वह दूसरों पर निर्भर रहते हैं और जिम्मेवारी भरा निर्णय नहीं ले पाते हैं। ये काम को गंभीरता से नहीं लेते हैं। पहला पर्व अगर चौड़ा है तो समझ लीजिए यह व्यक्ति मनमानी करने वाला अर्थात जिद्दी है। जिनका पहला पर्व लगभग समकोण जैसा दिखता हो उनके साथ होशियारी से पेश आने की जरूरत होती है क्योंकि ये काफी चालाक और तेज मस्तिष्क वाले होते हैं।

अंगूठे का दूसरा पर्व (Second Part of the Thumb): 

अंगूठे का दूसरा भाग लम्बा होना बताता है कि व्यक्ति चालाक और सजग है (People whose Second Phalange is long are cautious and cunning)। यह व्यक्ति सामाजिक कार्यों एवं जनसेवा के कार्यों में सक्रिय रहने वाला है। दूसरा पूर्व जिनका छोटा होता है वे बिना आगे पीछे सोचे काम करने वाले होते हैं परिणाम की चिंता नहीं करते यही कारण है कि ये ऐसा काम कर बैठते हैं जो जोखिम और खतरों से भरा होता है। दूसरा पर्व अंगूठे का दबा हुआ है तो यह बताता है कि व्यक्ति गंभीर और संवेदशील है और इनकी मानसिक क्षमता अच्छी है।

अंगूठे का तीसरा पर्व (Third Part of the Thumb): 

अंगूठे का तीसरा पर्व वास्तव में शुक्र पर्वत का स्थान होता है जिसे व्यक्ति विश्लेषण के समय अंगूठे के तीसरे पर्व के रूप में लिया जाता है (Mount of the Venus is located on the third phalange of the thumb)। यह पर्व अगर अच्छी तरह उभरा हुआ है और गुलाबी आभा से दमक रहा है तो यह मानना चाहिए कि व्यक्ति प्यार और रोमांस में काफी सक्रिय है। इस स्थिति में व्यक्ति जीवन के कठिन समय को भी हंसते मुस्कुराते गुजराना जानता है। यह पर्व अगर सामान्य से अधिक उभरा हुआ है तो यह जानना चाहिए कि व्यक्ति में काम की भावना प्रबल है यह इसके लिए किसी भी सीमा तक जा सकता है। अंगूठे का तीसरा पर्व अगर सामन्य रूप से उभरा नहीं है और सपाट है तो यह कहना चाहिए कि व्यक्ति प्रेम और उत्साह से रहित है।

उम्मीद है आप अंगूठे की महिमा पूरी तरह समझ चुके होंगे, तो अब से अंगूठे को गौर से देखिए और व्यक्ति को पहचानिए।

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Comments (4 posted):

Vinod on 10 July, 2009 04:16:41
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Sir,
I want to know that which thump (Left or Right)you are saying.
deependra mishra on 27 December, 2009 12:28:07
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i want to know my future.so this side would be more useful to know myself.
ramkishor bhatnagar on 16 August, 2010 09:04:47
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bina sthaaniiy palbhaa gyat kiye banai gai janm kundli,prashnkindli ke aadhaar par kiye gaye samaadhaan aevm bhavishy vaaniyaan galat hoti hain? tathaa samaadhaan kartaa or bhavishyvktaa uphaas kaaran bantaa hai tathaa publikke man men jyotish vidhyaa ke prati anaasthaa kaa bhaav paidaa kartaa hai /
shiva sahu on 12 October, 2010 07:47:29
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sir meri hath ki fingers aur th

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